सभी कक्षाओं में अनिवार्यतः विद्यार्थी विकास सूचकांक का प्रदर्शन/उपयोग बाबत
राज्य में प्रारंभिक कक्षाओं में विद्यार्थियों को विभिन्न लर्निंग आउटकम में दक्ष करने के उद्देश्य से प्रत्येक कक्षा में विद्यार्थी विकास सूचकांक तैयार कर उनका उपयोग करने के निर्देश हैं | इसके तहत शिक्षकों को प्रत्येक माह प्रत्येक कक्षा में कम से कम पांच लर्निंग आउटकम का चयन कर उन पर फोकस कर कक्षा में अध्यापन करना होगा | यह कार्य उनके नियमित पाठ्यक्रम के अध्यापन के साथ-साथ जारी रखा जाएगा | उदाहरण के लिए यदि शिक्षक किसी माह विद्यार्थियों को हाव-भाव के साथ किसी कविता को गा सकने के लर्निंग आउटकम को फोकस किया है तो उस माह अपने नियमित अध्यापन के साथ प्रत्येक विद्यार्थी में इस दक्षता को लाने हेतु प्रतिदिन कुछ समय अलग से निकल कर उस पर फोकस किया जाएगा |
प्रत्येक कक्षा में एक चार्ट में प्रतिमाह नए पांच लर्निंग आउटकम लिखकर जिन जिन बच्चों में वह हासिल होता जाता हैं उनके नाम के आगे टिक करें | आपका प्रयास यह होना चाहिए कि सभी बच्चों में वह लर्निंग आउटकम उसी माह में अनिवार्यतः आ जाए | इसके लिए वे विभिन्न उपाय करेंगे और विद्यार्थियों को भी एक दूसरे से सीखने के अवसर देंगे | इस प्रकार एक सत्र में सभी लर्निंग आउटकम हासिल करने की दिशा में प्रयास करेंगे और मिशन लर्निंग आउटकम कम्पलीशन (Mission LOC) को प्राप्त करेंगे |
इस प्रक्रिया से बच्चों को जिस कक्षा में जो चीजें सीख लेनी चाहिए वह वे सीख सकेंगे और हमें teching at right level (तरल) अर्थात पुराने पाठ्यक्रम पर टिके रहने, बार-बार दुहराने की आवश्यकता नहीं होगी | वरना अक्सर हमें अधिकांश विद्यार्थियों के साथ पुराने चीजों को सिखाने में ही पूरा समय निकल जाता है |
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